थारू समुदाय माघेक तयारीमे व्यस्त

पहुरा समाचारदाता
धनगढी, २० पुस । पश्च्छिउ कञ्चनपुरसे पूरुव झापासम बैठना थारु समुदाय माघ टिहुवार मनाइक लाग एक महिना आघेसे तयारीमे व्यस्त रहल बटै ।
पुसके अन्तिम रोजसे थारु समुदायमे माघ टिहुवार सुरु हुजैना ओरसे यी टिहुवारके लाग उ समुदायमे व्यस्तता बह्रल हो । सुरिक शिकार ओ ढिक्री माघ पर्वमे खास विशेषता परिकार रहल ओरसे दुई तीन महिना आघे सुरिक शिकारके लिस्ट बनैना, ढिक्री बनाइक लाग पिठा पिसना तयारी कैना चलन रहल थारु कल्याण कारिणी सभाके केन्द्रीय सदस्य प्रभात कुमार चौधरी बटैलै ।
उहाँ कहलै, ‘पुसके अन्तिम रोज जिटाके रुपमे सुव्वर मरना करजाइठ । जहाँ हजारौ सुव्वर, छेगरा मरठै, कोई शिकारके लाग मच्छरीके व्यवस्था करठै । दुसर रोज माघ १ गतेभर कोई (शिकारके लाग कुछ पशुपन्क्षी नइमरना) रगत नइडेखैठै ।’ माघ १ गते लडिया कुलुवामे लहाके बरस भर करल पाप पुहाजाइठ उहाँ कहलै ।
माघ लग्गे हुइलसंगे थारु बस्तीमे यी टिहुवाके रौनक बह्रे लागल थारु महिला सभाके जिल्ला अध्यक्ष दुर्गा कुश्मी बटैली । माघ टिहुवारहे थारु समुदायके लौवा वर्षके रुपमे मनैना करठै,’ उहाँ कहली, ‘यी टिहुवारके अवसरमे थारु बस्तीमे गाउँके अगुवाके घरमे जम्मा हुके वर्षभरके योजना बनैना परम्परा बा ।’
सभाके जिल्ला अध्यक्ष कुश्मी कहली, ‘गाउँगाउँ आगी टापेक लाग काठी कैना, धान, चाउर कुटानीपिसानी, जाँड डारु बनैना ओ और खानाके परिकारके चाँजोपाजो मिलैना थारू समुदायके मेधारु व्यस्त डेखल बटै । चाउरके पिठासे ढिक्री पकैना, अन्दीक जाँड, रोटी लगायत मिठामिठा परिकार बनाइक लाग काम सुरु हुसेकल बा ।’
पुस अन्तिम रोज सक्कुहुनके घर टमान चिजके सरशिकारके व्यवस्था रहठ,’ सभाके अध्यक्ष कहली, ॅमाघ १ गते बँचल, शिकार, ढिक्रीलगायत थारु समुदायमे बनाजैना अन्डिक मिसौला भात, कचरिक बरियाफे पकाजाइठ ।’
माघके अघिल्का दिन रातभर आगी बारके दफ बजाके डमार गैना प्रचलन रहल थारु नागरिक समाज कैलालीके जिल्ला संयोजक दिल बहादुर चौधरी बटैलै । उहाँ कहलै, गाउँक मनै एक्के ठाउँमे जमा हुके आगी टप्ना, डफ बजैटी डमार गैठै । मुरगी बोललपाछे लडिया कुलुवामे लहैना चलन थारु समुदायमे बा ।’ सब दिनमे नल्कामे लहैना करल मने माघ एक गतेभर चाहे जटरा जार रहलेसेफे लडिया, कुलुवामे पैसा टिरके लहाई परठ ।’
लडिया, कुलुवक पानीमे पैसा चह्राके लहैलेसे बर्सौ दिन करल पापपुन कटना थारु समुदायमे परम्गरागत विश्वास रहल उहाँ बटैलै । माघ लहाके कोई–कोई नइमजा कुलत (जाँर, डारु, बिडी, खैनी छोरना करलफे नागरिक समाजके संयोजक बटैलै ।
थारु समुदायमे माघके विशेषता का हो टे
थारु समुदाय माघ महिनामे बरस भर कैना योजना बनैना, बाँटबटैयाके टुङगो लगैना, घर फुटना, भोजविहाके बाट कैना, घरेक किसवना चुन्ना, भुरा खेल मार्फत आघेक बरसके समिक्षा करटी लौवा भल्मन्सा, अघरिया, चिरकी चुन्ना, गुरुवा, लोहरा चुन्ना कामफे कैना ओरसे माघ महिनाके पर्वके रुपमे लेजाइठ ।