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‘ऐन कार्यान्वयन फितालो’

पहुरा | २५ आश्विन २०७८, सोमबार
‘ऐन कार्यान्वयन फितालो’

खाद्य अधिकार तथा खाद्य सम्प्रभुता ऐन हिउँदे अधिवेशनमे नन्ना

पहुरा समाचारदाता
धनगढी, २५ कुवाँर ।
नागरिकहुकनके हकअधिकार सुनिश्चिके करेक लाग बनल ऐन कार्यान्वयनमे फितालो डेखल सरोकारवाला निकायहुक्रे बटैले बटै ।

फियान नेपाल, इन्सेक, खाद्य अधिकार संजाल ओ याक नेपालके संयूक्त आयोजनामे अँटवारके रोज धनगढीमे हुइल ‘खाद्य अधिकार तथा खाद्य सम्प्रभुता ऐन २०७५ के प्रभावकारी कार्यान्वयनमे सरोकारवालाहुकनके भूमिका’ विषयक कार्यक्रममे नागरिक अगुवाहुक्रे ऐन कार्यान्वयनमे फितलो डेखल बटैले रहिट ।

इन्सेक प्रदेश संयोजक खडकराज जोशी नागरिकके आधारभूत मानव अधिकार सुनिश्चित कैना राज्य दायित्व रहल मने उ फे पुरा नइहुइल बटैलै । उहाँ कहलै, प्रदेशमे ढेर ऐन बनल बा, मने कार्यान्वयन भर निराशाजनक डेखल बा । राष्ट्रिय मानव अधिकार आयोगके प्रदेश प्रमुख मोहन जोशी बनल कानून, ऐन कार्यान्वयन हुइलेसे नागरिकहुक्रे अपने पाई पर्ना हकअधिकार पैना बटैलै । उहाँ कहलै, प्रदेशमे ढेर जैसिन परिवार खाद्य अधिकारसे बन्चित हुइल अवस्था बा । सरकारसे आयआर्जनमुलक कार्यक्रम नन्ना जरुरी बा ।

गैर सरकारी संस्था महासंघके सचिव चेतमान साउद प्रदेश सरकारसे खाद्य अधिकारके बारेमे गम्भीर नइहुइल बटैलै । उहाँ कहलै, सुदूरपश्चिममे मुक्तकमैया, हलिया खाद्य अधिकारसे बन्चित हुइल मने सरकारके ध्यान टरेक वर्गसम नइपुगल बटैलै । फाया नेपालके शेरबहादुर बस्नेत सरकार जनताके लाग बनाइल कानून कार्यान्वयनमे उदासिन डेखल बटैलै ।

कार्यक्रममे आन्तरिक मामिला तथा कानून मन्त्री पूर्णा जोशी खाद्य अधिकार तथा खाद्य सम्प्रभुता ऐन हिउँदे अधिवेशनमे छलफल कैना बटैली । उहाँ कहली, –‘वर्गिय हिसाबसे पाछे परल किसान, एकल महिला, जनताके गरिबी, रोजगारीसंग जोरल कानून अवसिक हिउँदे अधिवेशनमे छलफल कैबी ।’

उत्पादित खाद्य वस्तुहे संरक्षण करे पर्नाफे उहाँ जोड डेहल रहिट, सीमाक्षेत्रमे जंगली जनावरसे बालीनाली नष्ट करटी रहल ओरसे जैविक मार्गफे बचैना जरुरी रहल मन्त्री जोशी बटैैली ।

प्रदेशसभा सदस्य अमर साउद सुदूरपश्चिम प्रदेश कानून बनैनामे बहुट आघे रहल मने कार्यान्वयनमे पाछे परल बटैलै । उहाँ कहलै, स्वार्थमे बाझल कारण ऐन कार्यान्वयन कैना बाट ओझेल परल विल्गाइठ ।

प्रदेशसभा सदस्य मालामति राना प्रदेशसभासे अभिनसम ५६ ठो सम ऐन बनाइल मने कार्यान्वयन बहुट कम रहल बटैली । उहाँ कहली, विद्येयक, ऐन बनाके कार्यान्वयन नइकरलेसे बनैलक कुछ फाइदा नइहो । यहाँक वास्तविक किसान सरकारसे पैना सेवा सुविधासे बन्चित हुइल मने पहँुचवाला केल सुविधा लेहल प्रदेशसभा सभा सदस्य राना बटैली । प्रदेश सरकारसे धानके सर्मथन मोल २७ सयसे ढेर तोकलेसेफे किसान १८ सयसे लेके दुई हजारमे केल विक्री करे पर्ना बाध्यता रहल बटैली । कार्यक्रममे प्रदेशसभा सदस्य सुशिला बुढाथोकी अपनेहुकनके पालामे खाद्य अधिकार तथा खाद्य सम्प्रभुता ऐन नानके कार्यान्वयनमे दवाब देना बटैटी ।

कार्यक्रममे फियान नेपालके निर्देशक अशोक सिंह खाद्य अधिकार तथा खाद्य सम्प्रभुता ऐन २०७५ के प्रभावकारी कार्यान्वयनमे सरोकारवालाहुकनके भूमिका विषयमे कार्यपत्र प्रस्तुत करले रहिट । उहाँ सीमामे रहल नेपाली विना बर्दीके प्रहरीके काम करल बटैलै ।

भूमि व्यवस्था तथा कृषि सहकारी मन्त्रालयके कृषि प्रसार अधिकृत गंगादत्त अवस्थी प्रदेश सरकारसे राहतके कार्यक्रम, किसान पहिचान करके वर्गिकरण, स्थानीय रैथाने बाली प्रवद्र्धन कार्यक्रम, मसिना धान प्रवद्र्धन कार्यक्रम नानल बटैलै ।

कार्यक्रमके अध्यक्ष तथा खाद्य अधिकार संजाल सुदूरपश्चिम प्रदेश संयोजक बलबहादुर रोकाय नागरिकके हकअधिकारके ऐन बनैनामे प्रदेशसभा सरकार पाछे परल मने अपनेहुक्रे पैना सेवा सुविधानके ऐनभर रातोरात बनाइल आरोप लगैलै । कार्यक्रमके संचालन याक नेपालके परियोजना संयोजक देवी खनाल करले रहिट ।

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