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५ महिनामे ८४४ उप्पर हिंसा

पहुरा | १३ पुष २०७८, मंगलवार
५ महिनामे ८४४ उप्पर हिंसा

५६ प्रतिशत हिंसा अपने घरभिटरके आफन्तसे

पहुरा समाचारदाता
धनगढी, १३ पुस ।
ओरेक नेपाल पछिल्का ५ महिनामे (सावनसे अगहनसम) ८४४ जाने महिला तथा बालिकाउप्पर हिंसाके घटना अभिलेखिकरण करले बा ।

यी अवधिमे घटल महिला हिंसाके घटनाके विश्लेषण करेबेर सबसे ढेर ५६ प्रतिशत अर्थात ४७५ ठो घटना घरभिटरके सदस्यके संलग्नता हुइल ओरेक नेपालके कार्यकारी निर्देशक लुभराज न्यौपाने जनैलै ।

यी समयमे गोसिया तथा परिवारके और सदस्यसे महिलाहे टमान वाहानामे कुटपिट करल, स्रोत–साधनसे बञ्चित करल, घरनिकाला करल, गारीगलौज करके भावनात्मक चोट पुगल, टमान डर त्रास डेखाके मानसिक यातना डेहल उहाँ जनैलै ।

यी अवधिमे १५२ ठो (१८ प्रतिशत) बलात्कार, ७५ ठो (९ प्रतिशत) सामाजिक हिंसा, ५३ ठो (६ प्रतिशत) हत्याके घटना ओस्टेक करके ३७ ठो (४ प्रतिशत) यौन दुव्र्यवहार, १४ ठो (२ प्रतिशत) अन्य मन्से ७ ठो अलपत्र अवस्थामे डगरमे फेला परल घटना ओ ७ ठो साइवर अपराधसंग सम्बन्धित घटना, ११ ठो (१ प्रतिशत) बलात्कारके प्रयास ओस्टेक ११ ठो (१ प्रतिशत) आत्महत्या, ८ ठो (०.९ प्रतिशत) मानव बेचविखन ओस्टेक ४ ठो (०.५ प्रतिशत) हत्याके प्रयास ओ ४ ठो (०.५ प्रतिशत) मानव बेचविखनके प्रयासके घटना रहल बटै ।

अगहन महिनामे केल ओरेकसे अपन कार्यालयमे अभिलेखिकरण करल (११९) तथा टमान राष्ट्रिय पत्रपत्रिकासे प्राप्त (३०) घटनाके आधारमे १४९ ठो लैङिक विभेदमे आधारित हिंसाके तथ्याङकफे अभिलेखिकरण करले बा ।

पाँच महिनामे (सावनसे अगहनसम) हिंसामे परल बालबालिका तथा महिलाके तथ्यांक

घरेलु हिंसाके घटना मन्से २१६ ठो (४५ प्रतिशत) कुहीहे खैना लगैना नइडेके माया ममतासे बञ्चित करके घर निकाला करल, केक्रो नागरिता नइवनाडेहल, केक्रो विवाह दर्ता नइबनादेहल ओस्टेक करके केक्रो बच्चाके जन्मदर्ता नइबनाडेहल ओस्टेक कुहीहे शैक्षिक सुविधासे बञ्चित करल ओ कुहीहे स्वास्थ्य सुविधासे बञ्चित करल पाइल बा ।

१३७ ठो (२९ प्रतिशत)मे शारीरिक हिंसा ओ १२२ ठो (२६ प्रतिशत)मे मानसिक हिंसाके घटना रहल बा । जौन घटनाहे हेरेबेर महिलाहे दाइजो नइनानल वा कम नानल निहुँमे, छाई छाई जन्मल निहुँमे, भोज हुइल नम्मा समयसम बच्चा नइजन्मलमे सक्कु दोष महिलाहे केल लगाके, गालीगलौज कैना अपशब्द प्रयोग कैना तथा चारित्रिक आरोप लगाके दैनिक रुपमे शारीरिक तथा मानसिक यातना डेहल पाइल बा ।

तथ्याँकके आधारमे विश्लेषण करेबेर घरेलु हिंसासे प्रभावित महिला मन्से ३५६ जाने (७५ प्रतिशत) गोसिया ओ ११९ जाने (२५ प्रतिशत) परिवारके और सदस्यसे महिला हिंसा प्रभावित हुइल यथार्थतासे महिला सबसे ढेर असुरक्षित घरभिटरेसे बा कना बाटके पुष्टि करठ ।

तथ्याँकके आधारमे हेरेबेर १७ से ४५ वर्ष उमेर समूहके ३५५ जाने महिला सबसे ढेर घरेलु हिंसासे प्रभावित रहल ओ उहे उमेर समुहके २५५ जाने युवा पुरुष सबसे ढेर हिंसामे संलग्न रहल कार्यकारी निर्देशक न्यौपाने बटैलै ।

‘महिला हिंसा सबसे ढेर संख्या अपने घरमे जोखिम बा,’ कार्यकारी निर्देशक न्यौपाने कहलै, ‘परिवार, समाज ओ राज्यमे स्थापति पितृसत्तात्मक सोँच ओ उहे अनुरुप विभेदकारी मूल्य मान्यताके कारण हुइना हिंसा महिलासे भोग्ही पर्ना नियती जस्टे बनल बा ।’ समाज परिवर्तनमे लागे पर्ना युवा हिंसाके लाग जिम्मेवार हुके समाज परिवर्तनसंगे देशके समग्र विकासमे बाधा पुगैटी रहल उहाँ बटैलै ।

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