थारु राष्ट्रिय दैनिक
भाषा, संस्कृति ओ समाचारमूलक पत्रिका
[ थारु सम्बत १३ बैशाख २६४९, शनिच्चर ]
[ वि.सं १३ बैशाख २०८२, शनिबार ]
[ 26 Apr 2025, Saturday ]
‘ सम्पादकीय ’

थारु पहिरन प्रवर्द्धनमे स्थानीय तहके भूमिका

पहुरा | २२ जेष्ठ २०८०, सोमबार
थारु पहिरन प्रवर्द्धनमे स्थानीय तहके भूमिका

दुई दशक यहोर थारु पहिरन हेरैटी गैलैसेफे स्थानीय तह लागु हुइलपाछे मागमे आधारिक यकर प्रवद्र्धनमे सहयोग पुग्ना मेरिक फेरसे बजेट विनियोजन करल विल्गाइल बा । कैलाली जिल्लाके धनगढी उपमहानगरपालिका वडा नम्बर ८ वडा कार्यालयसे सीप विकास तालिम केन्द्र्र धनगढीमार्फत दुई महिने लेहेंगा सिना तालिमके आयोजना करल रहे । जिहीसे करिब दुई दर्जन महिला लेहेंगा सिना तालिम पैलै । लेहेंगासंग्गे अंग्याफे महत्वपूर्ण रहल ओरसे दुसर बरस ओकरफे तालिम डेलेसे यिहीहे व्यावसयिक रुपमे आघे बह्राई सेक्ना सहभागी कहल रहिट । वडा नम्बर ८ के वडा अध्यक्ष जुगराम चौधरी अइना बरसफे थारु पहिरनके लाग बजेट विनियोजना कैना प्रतिबद्धता जनैले बटै । ‘अमूर्त साँस्कृतिक सम्पदा परम्परागत कला कौशलः पुस्तान्तरण ओ बजारीकरणसे संरक्षण, संवद्र्धन, प्रवद्र्धनः हमारे अभियान’ कना नारासहित दाङ हस्तकलाके आयोजना तथा स्किल अप नेपाल हस्तकला महासंघ, काठमाडौंके प्रायोजनम कैलालीक जानकी गाउँपालिका वडा नम्बर ४, कञ्चनपुरमे १ महिने थारु लेहेंगा÷अंग्या कटाई–कढाई–सिलाई तालिम डेगिल बा ।

पहिले पुर्खान थेन मेरमेराइक हस्ताकलाके ज्ञान रहे । उहीहे पुस्तान्तरण करे नइसेकलपाछे पुर्खनसंगे उ फे चलजैटी बा । हस्तकला कैलाली जिल्ला संयोजक राधा कठरिया थारु लेहेंगा/अंग्या एक ठो पहिचानके रुपमे रहल यिहीहे संरक्षण करे नइसेक्लेसे थारु समुदायके अस्तित्व हेरैना बटैठी । जानकी गाउँपालिका वडा नम्बर ८ के वडाध्यक्ष दीपेन्द्र कठरिया संस्कृति बचाइक लाग लेहेंगा÷अंग्याहे संरक्षण, सम्वद्र्धन प्रवद्र्धन कैना आवश्यकता महशुस हुइलपाछे बजेट विनियोजन करल ओ अइना बरस निररन्तता डेना बटैठै । केओटी युनिभरसिटी टोकियो जापानके मानवशास्त्री टासुनो फाजिकुरा विदेशमे लेहेंगा÷अंग्या बहुट महत्व रहल ओ पश्चिमा संस्कृतिमे लेहेंगा/अंग्याके माग ढेर रहल बटैठै । अइसिन मजा संस्कृतिके सहि पहिचान खोजेक अपने लगायत टमान विदेशी पर्यटक नेपाल आइल बटैठै । दाङ हस्तकला दाङके जिल्ला अध्यक्ष अशोक थारू अइसिन सीप ज्ञान लावा पुस्तामे नन्ना जरुरी रहल ओ लेहेंगा/अंग्या, चोलियाहे मूर्त रूप डेहेक लाग छोट्टेसे आइन कला संस्कृतिमे लागे परना बटैठै । ओस्टेक कैके कैैलारी गाउँपालिकाके उपाध्यक्ष भगवतीकुमारी चौधरी थारु लेंंहेगाके प्रवद्र्धन बह्राइक लाग पालिकाके महिला तथा बालबालिका शाखामार्फत बजेट विनियोजन कैके महिलाहुकनहे दुई महिने तालिम डेटी रहल बटैठी ।

सुदूरपश्चिम प्रदेशके कैलाली ओ कञ्चनपपुर थारु बाहुल बासोबास रहल जिल्ला हो । यहाँ थारु, रानाथारु ओ कठरियाथारुके बासोबास रहल बा । ओसिक हेरेबेर कञ्चनपुर जिल्लाके कुछ पालिकाके प्रमुख, उपप्रमुख, वडा अध्यक्षमे रानाथारु, थारु समुदायके व्यक्ति प्रतिनिधित्व करटी बटै । रानाथारु ओ थारु समुदायके परम्परागत पहिरन हेरैटी गैल बा । यहाँफे यैसिन तालिम जरुरी रहल बा । कैलाली जिल्लाके धनगढी उपपमहानगरपालिकाके उपप्रमुख लगायत टमान वडामे वडा अध्यक्षमे रानाथारु समुदायसे प्रतिनिधित्व कैगिल बा । थारु समुदायके पहिरनसंगे रानाथारु समुदायके पहिरनफे लोप हुइटी रहल बा । लौवा पिढी लेहेंगा अंग्या सिले नइजन्ठै । लौवा पिढीहे सिखायक लाग अपन वडासे लेहेंगा सिना तालिमके आयोजना हो की सोचे पर्ना जरुरी बा । कैलालीमे कठरिया थारु समुदायसे दुई पालिकामे उपाध्यक्ष प्रतिनिधित्व करटी बटै । ओटरा केल नाही टमान वडामे वडा अध्यक्षफे रहल बटै । उहाँहुक्रे यहोर सोचे पर्ना जरुरी बा । डगरघाट, भौतिक पूर्वाधार केल विकास नइहो । हमार पहिचान मौलिक संस्कृति नइरहलेसे हमार अस्तित्व का रना कना हो ।

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