३० प्रतिशत व्यक्तिनहे मानसिक स्वास्थ्य समस्या
पहुरा समाचारदाता
धनगढी, १५ अगहन । विश्व स्वास्थ्य संगठनसे तमान समयमे करल अध्ययन अनुसन्धान अनुसार विश्वमे मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे प्रभावित व्यक्तिके संख्या बढटी गैल बा ।
सिएमसी नेपाल प्रवद्र्धन परियोजनाके कार्यक्रम अधिकृत अनत चौधरी विश्व स्वास्थ्य संगठनसे करल अध्ययन अनुसन्धान अनुसार विश्वमे मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे प्रभावित व्यक्ति करिव २५ से ३० प्रतिशत रहल बटैले बटै ।
नेपालमे राष्ट्रिय स्वास्थ्य अनुसन्धान परिषदसे सन २०१८ मे सम्पन्न करल राष्ट्रिय मानसिक स्वास्थ्य सर्वेक्षण पाईलट अध्ययन प्रतिवेदनसे किशोर किशोरीमे आत्महत्याके जोखिम ८.७ प्रतिशत ओ वयस्कमे १०.९ प्रतिशत डेखल उहाँ बटैलै । मुख्य रुपमे मानसिक समस्यासे डिप्रेशन ३.४ प्रतिशत, मादक पदार्थ दुव्र्यशनी ३.४ प्रतिशत तथा लागु पदार्थ दुव्र्यसनी ७.३ प्रतिशत पाइल बा ।
ओस्टेक नेपालमे पछिल्का समयमे आत्महत्या करुइया व्यक्तिके दरहे हेर्ना हो कलेसे प्रतिदिन करिव २० जाने आत्महत्या करल विल्गाइठ । पछिल्का आर्थिक बर्ष २०७९।०८० मे ६९९३ जाने आत्महत्या करके मृत्यूवरण करल विल्गाइठ । ओस्टे १५ से २९ बर्ष उमेर समूहके व्यक्तिके मृत्यूके पहिल कारण आत्महत्या पाइल बा ।
आत्महत्या मूलतः मानसिक रोगके कारण्से कैना करठै । ओम्ने सुदूरपश्चिम प्रदेश अन्तरगत रहल कैलाली जिल्ला आत्महत्या करके मृत्यूवरण कैना जिल्ला मध्ये पहिल डेखल उहाँ जनैलै ।
मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे प्रभावित व्यक्ति तथा ओइनके परिवारके सदस्य टमान खाले समस्या झेल्टी आइल बटै,’ उहाँ कहलै, ‘हाल आके औषधी उपचारसे निक हुइटी गैलपाछे अब मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे ग्रसित हुइल डाडुभमैया, दिदीवहिनीया लगायत जे कोईफे समाजमे अपहेलित, घृणित जीवनयापनसे गुज्रे नपरे कना शुद्ध सामाजिक भावनासहित मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे प्रभावित व्यक्ति तथा परिवारके सदस्य संगठित हुइल बटै ।’
उहाँ कहलै, ‘मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे प्रभावित व्यक्ति मानसिक स्वास्थ्य स्वावलम्वन समुह जिल्ला सञ्जाल गठन करके मानसिक स्वास्थ्यके बारेमे प्रचार प्रसार करटी बटै । उ संग्गे जनचेतना जगैना काम, प्रभावित व्यक्तिहे उपचार सेवाकेृ लाग रेफर कैना काम, मानसिक स्वास्थ्य तथा मनोसामाजिक समस्या रहल व्यक्तिके हक, अधिकारके बारेमे सरोकारवाला निकायसंग पैरवी कैना काम लगायतके क्षेत्रमे सहयोग करटी आइल बटै ।’
नेपालके संविधानसे मौलिक हकके रुपमे प्रदत्त स्वास्थ्य सम्बन्धी हक अन्तरगत प्रत्येक नागरिकहे राज्यसे आधारभूत स्वास्थ्य सेवा निशुल्क रुपमे प्राप्त कैना तथा स्वास्थ्य सेवामे समान पहुँच हुइना ब्यवस्था करल बा ।
जनस्वास्थ्य सेवा ऐन २०७५ के दफा ३ के उपदफा ४ (ङ) मे मानसिक स्वास्थ्य सेवाहे ाधारभूत स्वास्थ्य सेवाके सुचीमे समावेश करल बा । अपाङता रहल व्यक्तिहुकनके अधिकार सम्बन्धी ऐन २०७४ के परिच्छेद ७ मे मनोसामाजिक अपाङगता रहल व्यक्तिहुकनके स्वास्थ्य, पुनस्र्थापना, सामाजिक सुरक्षा तथा मनोरञ्जनके व्यवस्था समेत करल बा ।
उ ऐनके दफा ३५ ओ ३६ से मनोसामाजिक अपाङता रहल ब्यक्तिहुकनके लाग थप सेवा सुविधाके समेत सुनिश्चितता करल बा । संयुक्त राष्ट्र संघके दिगो विकास लक्ष्य २०१६–२०३० फे मानसिक स्वास्थ्यहे प्राथमिकतामे धारके मानसिक स्वास्थ्यके प्रवर्धन कैना, नइसर्ना रोगसे हुइना मृत्यु एक तिहाइसे कम कैना, लागु पदार्थ दुव्र्यसनीके रोकथाम तथा उपचार एवं पुनस्र्थापनाके लक्ष्य धारल बा ।
नेपालसे पक्ष राष्ट्रके रुपमे अनुमोदन करल अन्तराष्ट्रिय महासन्धी जस्टे अपाङता रहल व्यक्तिहुकनके अधिकार सम्बन्धी महासन्धी,यातना पिडितहुकनके अधिकार सम्बन्धी महासन्धी, बाल अधिकार सम्बन्धी महासन्धी लगायतमे उल्लेख हुइल बमोजिम मानसिक स्वास्थ्यके प्रवद्र्धन, रोकथाम तथा उपचार एवं पुनस्र्थापना अधिकारके सुनिश्चित कैना राज्यके दायित्व रहल सिएमसी नेपाल प्रवद्र्धन परियोजनाके कार्यक्रम अधिकृत अनत चौधरी बटैलै ।
राष्ट्रिय मानसिक स्वास्थ्य रणनीति तथा कार्ययोजना २०७७ लगायतके कानुनी दस्ताबेजसे मानसिक स्वास्थ्य तथा मनोसामाजिक सु–स्वास्थ्य प्रवद्र्धन कैना उल्लेख करलफे उहाँ बटैलै । सिएमसी नेपाल फेल्म नेपालके आर्थिक सहयोगमे प्रवद्र्धन परियोजना अन्र्तगत कैलालीके घोडाघोडी नगरपालिका, टीकापुर नगरपालिका ओ जानकी गाउँपालिकासे साझेदारी करके मानसिक स्वास्थ्य समस्या न्यूनिकरण सम्बन्धी गतिविधि संचालन करल उहाँ बटैलै । ओस्टेक करके कर्णाली प्रदेशके सल्यान जिल्लाके वनगाउँ कुपेन्दे नगरपालिका, शारदा नगरपालिका, बागचौर नगरपालिका ओ छात्रेश्वरी गाउँपालिकामेफे गतिविधि संचालन करल परियोजना कार्यक्रम अधिकृत बटैलै ।
मानसिक स्वास्थ्य स्वावलम्वन समुहसे सामाजिक मन्त्री साउदहे ज्ञापन पत्र
सुदूरपश्चिम सरकारसे हलहाली मानसिक स्वास्थ्य तथा मनोसामाजिक नीति, रणनीति, कार्ययोजना, बजेट ओ कार्यक्रम बनाके कार्यन्वयन करे परल कहटी मानसिक स्वास्थ्य स्वावलम्वन समुह जिल्ला सञ्जाल, कैलालीसे सुदूरपश्चिम प्रदेश सरकारके माननीय सामाजिक विकास मन्त्री झपट बहादुर साउँदहे ६ बुँदे ज्ञापनपत्र बुझैले बटै ।
सिएमसी नेपालके सहकार्यमे मानसिक स्वास्थ्य स्वावलम्वन समुहसे शुकके रोज उ ज्ञापनपत्र बुझाइल हो ।
ज्ञापनपत्रमे सुदूरपश्चिम प्रदेश मताहत रहल जिल्ला अस्पतालमे मानसिक रोग विशेषज्ञ डाक्टर हाली व्यवस्थापन करके सक्कुहुनके लाग सरल, सहज ओ निःशुल्क औषधीके व्यवस्थापन नियमित करे पर्ना, मानसिक स्वास्थ्य समस्या रहल व्यक्तिनहे अपाङता रहल व्यक्तिके अधिकार सम्बन्धि ऐन २०७४ मे व्यवस्था करल बमोजिम मनोसामाजिक अपाङता परिचय पत्र वितरण प्रक्रियाहे सहज रुपमे उपलब्ध करैना व्यवस्था करे पर्ना माग करल बा ।
सुदूरपश्चिम प्रदेशमे मानसिक स्वास्थ्य समस्यासे ग्रसितहुके औषधी उपचारसे निक हुइटी करल अतिविपन्न, विपन्न वर्गके व्यक्ति तथा ओइनके आश्रित परिवारके सदस्यके पुनस्र्थापनाके लाग जीविकोपार्जनमे सहयोग हुइना खालके कार्यक्रम बनाके लागु करे पर्ना, प्रदेशके सक्कु थानीय तहमे नेपाल सरकारसे तयार पारल सामुदायिक मानसिक स्वास्थ्य तथा मनोसामाजिक सहयोग प्याकेज २०७४ बमोजिम कार्यक्रम बनाई लागु करे पर्ना ओ प्रदेशमे बन्ना हरेक नीति, कानुनमे समावेशी नीति अवधारणाहे अवलम्बन करटी कार्यन्वयन करे पर्ना ज्ञापनपत्र मार्फत माग कैगिल बा ।
मानसिक स्वास्थ्य स्वावलम्बन समुह जिल्ला सञ्जाल कैलालीके अध्यक्ष सालीभान खाती सामाजिक विकास मन्त्री साउँदहे ज्ञापनपत्र हस्तान्तरण करल रहिट । ज्ञापनपत्र बुझटी मन्त्री साउद अब्बे ढेर मनैनहे मानसिक स्वास्थ्य समस्या बढटी गैल बटैलै । उहाँ सुदूरपश्चिम प्रदेश सरकारसे मानसिक स्वास्थ्य तथा मनोसामाजिक नीति, रणनीति ओ कार्ययोजना बनाके मानसिक स्वास्थ्यके प्रवद्र्धनन कैना कदम आघे बढैना प्रतिवद्धताफे जनैले बटै । ओस्टेक करके मनोसामाजिक समस्या रहल व्यक्तिहुकनहे आयआर्जनमे जोरनाफे मन्त्री साउद बटैलै ।