थारु राष्ट्रिय दैनिक
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[ 07 May 2025, Wednesday ]

डसिया सुरु आज घटस्थापना

पहुरा | १७ आश्विन २०८१, बिहीबार
डसिया सुरु आज घटस्थापना

काठमाडौं, १७ कुवाँर । नेपालीहुकनके महान पर्व डसिया आजसे सुरु हुइल बा । आज पहिल दिन घटस्थापना हो । प्रत्येक वर्ष कुवाँर शुक्ल प्रतिपदासे पूर्णिमासम हर्षोल्लास ओ धूमधामको साथ डसिया मनाजाइठ ।

डसियाके पहिल दिन आज घर–घरमे वैदिक विधिपूर्वक डिया, कलश ओ गणेश स्थापना करके घटस्थापना करजाइठ । घटस्थापनाके साइत सकारे ९ बजेर १६ मिनेटमे शुभ रहल नेपाल पञ्चाङक निर्णायक समिति जनैले बा ।
गैयक गोबरसे लिपपोत करल पूजा कोठा अथवा डसिया घरमे पवित्र लडिया वा चोखा ठाउँमे बालुवा अथवा माटी ल्यानके जौ, छिटके विधिपूर्वक जेउरा धारजाइठ । जौ के अंकुर दुर्गा देवीके प्रिय वस्तु रहल ओरसे दुर्गाहे चढाके विजया दशमीके दिन टीका प्रसादसहित समृद्धिके प्रतीक हरडयार जेउरा ग्रहण करजाइठ ।

जौबाहेक और अन्नके जमरा रख्न शास्त्रीय विधि नैहो

विधिपूर्वक स्थापना करल घडाउप्पर शक्तिस्वरुपा दुर्गाके पूजा आराधना कैना ओरसे आजके दिनहे घटस्थापना कहिजाइठ । आज स्थापना करल पूर्ण कलशके जलले अभिषेक करके विजया दशमीके दिनमे दुर्गा देवीके प्रसाद ग्रहण करजाइठ ।

कोई कोई जौ बाहेक गोहुँ ओ मकैके फे जेउरा रख्न करठै, मने जेउरामे जौ बाहेक औ अन्न लगैना शास्त्रीय विधि नैरहल नेपाल पञ्चांग निर्णायक समितिके पूर्वअध्यक्ष रामचन्द्र गौतम बटैठै ।

नवरात्रभर दुर्गादेवीके नौ रुपके पूजा

घटस्थापनासे विजया दशमीसमके अवधिहे नवरात्र कहठै । नवरात्रभर अधिष्ठात्री देवी दुर्गाके नौ रुपके पूजा करजाइठ ।
नवरात्रके पहिल दिन शैलपुत्री, दुसरा दिन ब्रहृमचारिणी, टिसरा दिन चन्द्रघण्टा, चौठा दिन कुष्माण्डा, पाँचौँ दिन स्कन्दमाता, छैठौँ दिन कात्यायनी, सातौँ दिन कालरात्री, आठौँ दिन महागौरी ओ नवौँ दिन सिद्धिदात्रीके पूजा आराधना करजाइठ ।
डसियाके सातौं दिन धार्मिक विधिअनुसार फूलपाती भित्रयाजाइठ । महाअष्टमी ओ महानवमीके दिन बलि पूजा करुइया डसिया घर, कोत ओ शक्तिपीठमे बलिसहित विशेष पूजा करठै ।

नवरात्रभर दुर्गा सप्तशती चण्डी, श्रीमद्देवीभागवत ओ अन्य देवी स्तोत्र एवम् स्तुतिके पाठ करजाइठ । यी अवसरमे नक्साल भगवती, शोभा भगवती, नाला भगवती, पलाञ्चोक भगवती, भद्रकाली, मैतीदेवी लगायत देशभरके देवी मन्दिर अर्थात् शक्तिपीठमे पूजा आराधना एवम दर्शनार्थीके भीड लागठ ।

डसिया पर्वहे असत्यउप्पर सत्य ओ आसुरी शक्तिउप्पर दैवी शक्तिके विजयके प्रतीकके रुपमे मनैना करजाइठ । दुर्गा पूजा ओ डसिया पर्व कौनो जात एवम् धर्म विशेषके कहिके शास्त्रीय रुपमे प्रमाण नैरहल यी मानव मात्रके कल्याणके पक्षमे काम कैना शक्तिके प्रतीकके रुपमे मनैना करल धर्मशास्त्रके जानकार बटैठै । यी वर्षके डसिया टीका कुवाँर २६ गते शनिच्चर परल बा । विजयादशमीके दिन सकारे ८ बजेर ३३ मिनेटमे देवी विसर्जन करलपाछे ११ बजेर ३६ मिनेटके शुभ साइतमे मान्यजनसे प्रसादके रुपमे टीका, जेउरा ओ फूल प्रसाद ग्रहण करजाइठ ।

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