घोडाघोडीहे वर्ड सेन्चुरी घोषणा
पहुरा समाचारदाता
धनगढी, २७ फागुन । कैलालीके प्रसिद्ध घोडाघोडी सिमसारहे नेपालके पहिल वर्ड सेन्चुरी (चरा अभयआरण्य क्षेत्र) शुकके रोज घोषणा करल बा ।
घोषणा कार्यक्रम सुदूरपश्चिम प्रदेशके मुख्यमन्त्री एक समारोहके बीच त्रिलोचन भट्ट उद्घाटन करले रहैं । कार्यक्रममे बोल्टी उहाँ नेपालके पहिल बर्ड सेन्चुरी (चरा) क्षेत्रके पहिचानके रूपमे घोडाघोडी रहल बटैलैं । यिहिनहे सबजे मिलके व्यवस्थित तरिकासे आघे बह्राइ परना उहाँक कहाइ बा ।
उहाँ कलैं, प्रदेश सरकार अन्तर्गत पर्ना योजनामे जत्रा लगानी लगाके यहाँ भ्यु–टावर बनैना बटैलैं । पर्यटनके विकाससंगे सरक्षण करना सबके उत्तरदायित्व रहल ओ पर्यावरण पर्यटनके विकास तीब्र गतिमे आघे बह्राके यहाँक स्थानीयहे स्वरोजगारीसंगे रोजगारीके फेन विकास हुइना मुख्यमन्त्री भट्ट बटैलैं ।

घोडाघोडी तालसंग रहल वनजंगल, तालतलैया संरक्षण ओ संवद्र्धन करटि वन्यजन्तु, चराचुरुंगीके माध्यमसे कैसिक पर्यटन विकास करलेसे किल यी घोषणा सार्थकता पैना सुदूरपश्चिम प्रदेशके अर्थ विकास तथा प्राकृतिक स्रोत समितिके सभापति हर्क कुँवर बटैलैं ।
उहाँ कलैं, ‘यकर लाग यहाँक स्थानीय सरकार ओ स्थानीय बासिन्दाहुकनके महत्वपूर्ण भूमिका रहठ ।’
ओस्टेक, कार्यक्रममे जुलोजिकल सोसाइटी अफ लण्डनका राष्ट्रिय संयोजक एवं चराविद् डा. हेमसागर बराल विश्व रामसार क्षेत्रमे सूचीकृत घोडाघोडी सिमसार क्षेत्रमे ३६० प्रजातिके चराचुरुंगी रहल बटैं । उहाँक अनुसार यी सिमसारमे साइबेरिया, मंगोलियालगायत टमान ठाउँसे हिउँदे आगन्तुक चिरैं फेन अइना ओ यहाँ मिल्ना चरामन्से ६४ प्रजातिके चिरैं जलपंक्षी रहल बटैं । टमान प्रजातिके चिरैं मिल्ना घोडाघोडी सिमसारहे बर्ड सेन्चुरी बनाइलपाछे चिरैं ओ ओइनके बासस्थान संरक्षणमे थप टेवा पुग्ना उहाँ विश्वास व्यक्त करलैं । उहाँ बर्ड सेन्चुरी घोषणापाछे संरक्षण सम्बन्धी गतिविधि ढेर हुइना बटैलैं ।
सुदूरपश्चिम प्रदेशके उद्योग पर्यटन वन तथा वातावरण मन्त्रालयके सहकार्य ओ घोडाघोडी नगरकार्यपालिके आयोजनामे बर्ड सेन्चुरी घोषणा करल हो । घोडाघोडी पर्यटन बोर्डके कार्यकारी उपाध्यक्ष दयाराम चौधरी हमार देशमे अभिनसम एक्के फेन बर्डं सेन्चुरी नैरहल बटैलैं । प्रदेश सरकारके कानूनहे टेकके बर्ड सेन्चुरी घोषणा करल उहाँ बटैलैं । ‘बर्ड सेन्चुरी घोषणापाछे मुख्य दायित्व फेन प्रदेश सरकारके रहठ’, उहाँ कलैं ।
प्रसिद्ध घोडाघोडीसहित छोटभारी २४ ठो ताल रहल घोडाघोडी सिमसार क्षेत्र १० हजार ५७० हेक्टर क्षेत्रफलमे फैलल बा । मने, चिरैं अभय आरण्य क्षेत्र करिब छ हजारसे ढेर हेक्टर क्षेत्रफलहे समेटल बटागिल बा । वर्ड सेन्चुरी घोषित क्षेत्रमे मनै जाइ टे मिलठ, मने चिरैन्के संसारहे हस्तक्षेप करे नैपाजाइठ ।

घोडाघोडी सिमसारमे रैथाने प्रजातिके साथे चिरैंन्के प्रजाति संख्या बह्रटि गैल बा । ओस्टेक, अन्यत्र बासस्थान नैपाके चिरैं यहाँ अइठैं । मंगोलियन ओ साइबेरियन चिरैंनके लाग नेपालके चार रुटमन्से घोडाघोडी सिमसार फेन एक रुट हो । जारमे वहाँसे चिरैं यहाँ अइठैं । मानवीय हस्तक्षेपके कारण घोडाघोडी सिमसारमे चिरैंन्के प्राकृतिक बासस्थान बिग्रटि बा । घोडाघोडी ताल क्षेत्र वरपर प्लाष्टिकजन्य वस्तु फेँक्नासे साथे फोहोर व्यवस्थापन कमजोर बा ।
बर्ड सेन्चुरी बनैलेसे घोडाघोडी क्षेत्रमे हुइटिरहल प्रदूषण कम हुइना विश्वास संरक्षणकर्मीके बा । बर्ड सेङचुरी बनलपाछे चिरैंन्हे पहिल प्राथमिकतामे ढैके वनजंगल, सिमसार, जलाधार क्षेत्रके संरक्षण करना घोडाघोडी नगरकार्यपालिका प्रमुख ममता चौधरी बटैलैं । ‘संरक्षण ओ पर्यापर्यटनहे संगसंगे आघे बह्रैना उद्देश्यके साथ यी गौरवके विषय आघे बह्राइल हो,’ उहाँ कलैं, ‘बर्ड सेन्चुरी यी प्रदेशके एक ब्राण्ड रहि ।’ प्राकृतिक सुन्दर दृश्यसे भरिपूर्ण घोडाघोडी चिरैं अवलोकनसहित पदयात्रा करेक लाग महत्वपूर्ण सिमसार हो ।
चिरैं पर्यटनके सम्भावनाहे मध्यनजर कैके उ नगरपालिकाके वडा नम्बर ३ स्थित माघीमे थारु होमस्टे फेन सञ्चालनमे रहल बा । मने, चरा पर्यटन फष्टाइ नैसेकल कारण होमस्टे फेन खास चलल नैहो । बर्ड सेन्चुरी घोषणाले पर्यटन व्यवसाय फष्टैना स्थानीयके अपेक्षा बा ।


