पहुरा
७ मंसिर २०७७, आईतवार
एक समय अइसा रहे, लक्ष्मीराम बहुट सुखी रहैं । घरके एकलौटा छावा, खैनापिना कौनो समस्या नाई । बपुवा काशीराम बर्का मेहनती, मुर्गीबोल्टैसे काममे डटपर्ना । हुकहिन देखके गाउँक मनै अचम्म परैंह् । लक्ष्मीराम फे करिब करिब अपने बाबकहस्