थारु राष्ट्रिय दैनिक
भाषा, संस्कृति ओ समाचारमूलक पत्रिका
[ थारु सम्बत १४ बैशाख २६४९, अत्वार ]
[ वि.सं १४ बैशाख २०८२, आईतवार ]
[ 27 Apr 2025, Sunday ]

विचार

थारु बोली जट्टिक उसिट लागठ, का ?

थारु बोली जट्टिक उसिट लागठ, का ?

जब जबआँङ ढिकठ, जिभ स्वाद नैपाइलागठ, टब लिरौसीसे अन्सार लगाइ सेक्जाइठ कि जिउ चुम्मर नैहो, जीउक भिट्रि पुर्जम कुछ ना कुछ गरबर बा । जिउह पैल्हक जस्टह चुम्मर बनाइक लाग या ट गुर्वा बैडावाक घर आँछट पाटि डेखाइ जाइक परल या ट डक्टार । आज
का थारु अशुद्ध उच्चारण करना जात हो ?

का थारु अशुद्ध उच्चारण करना जात हो ?

कथ्य थारु भाषा लेख्य रुपमे आइ लागल ढेर हुइल नैहो । हजारौँ थारु श्लोक मुखाग्र गइना लोकगायकसे अपने जानल लोककाव्य अभिन फेन अप्नही नैलिख्जाइठ । लोकभाषाप्रति पहिल अन्याय यहैंसे शुरु हुइठ । ओइनके उच्चारण करल वर्णविन्यासहे हम्रे
भाषिक मानकताक बखेरीक बौछार

भाषिक मानकताक बखेरीक बौछार

भाषा मानव समुदायक कथ्य ओ लेख्य अभिव्यक्तिक प्रतिमूर्ति हो । भाषा बोली वा वाणी हो, बोलीक् लाग आवाज, स्वर चाहठ कलसे, लिखक् लाग अर्थात लेख्य अभ्यासकलाग लिपि, ओ वर्ण चाहठ । लिपिक साहराले वर्ण बनठ, वर्णक साहराले शब्द (हिज्जे) बनठ । हिज्जेके
बुद्ध थारु कि, थारु बुद्ध ?

बुद्ध थारु कि, थारु बुद्ध ?

हर बरस सेप्टेम्बर २१ के दिन, विश्वभर अन्तर्राष्ट्रिय शान्ति दिवस मनाजाइठ । शान्ति अपन भिट्टर रहठ, यिहि ख्वाज कहुँ डुर जाइक नैपरठ । डुन्याभर शान्तिक डगर हेर्लसे महा चाक्कर बिल्गट । आब्ब, बुद्ध दर्शनह डुन्याक सबसे मजा दर्शन फे कह डटल
कोरोना कहरमे मेलमिलाप अभियान

कोरोना कहरमे मेलमिलाप अभियान

कोभिड १९ अर्थात कोरोना भाईरसके कारण समग्र विश्व आक्रान्त बनल बा । चीनके बुहानसे सुरु हुइल यी महामारी हाल बिश्वक सक्कुहस मुलुकमे प्रवेश करसेकल बा । विश्व स्वास्थ्य संगठनके अनुसार सेप्टेम्वर १७, २०२० सममे विश्वभरमे कोरान संक्रमण
पीडादायी स्मृतिहरु…

पीडादायी स्मृतिहरु…

इन्दु थारुमेरा स्मृतिहरुबाट भाग्न म आफूलाई बलजफ्ती व्यस्त राख्ने असफल प्रयास गरिरहन्थे । त्यसबेला मेरा एक साथीले भनेका थिए ‘जब तपाई आफैंलाई ब्यस्त राख्नुहुन्छ, तपाई आफ्नो भावनाको नजिक हुनुहुन्न, तर तपाईको जीवनमा ती स्मरणहरुले
संविधान निर्माण प्रक्रिया थारु विरोधी

संविधान निर्माण प्रक्रिया थारु विरोधी

नेपाल सरकार बैधानिक कानून २००४ जेम्ने ६८ धारामे लिपिवद्ध बा । उ पहिल कहल संविधानके मौलिक हकमे मुलुक भर अनिवार्य निःशुल्क प्रारम्भिक शिक्षा पैना हक, उमेर पुगल ओरसे भोट डारे पैना बाहेक जनपक्षीय कुछ नइहो । खाली राजा महाराजाहुकनके
थारु भासा विकासके यात्रा

थारु भासा विकासके यात्रा

थारु भाषा मे कलम चलावे वलाना के जतन्या कमी छै वकर से बेसी छपावे वलाना (प्रकाशक) के कमी छै । लेख रचना, कथा कविता, गीत गोदहन, समाजिक संस्कार, रितिरिवाज, आलोचना, समालोचना, विचार विमर्श, बाल कथा, साहित्य, हाँस्यव्यग्य (हसनीखिजनी), उखाम, नाटक,
थारु मानक भाषा बहससे सिखाई

थारु मानक भाषा बहससे सिखाई

थारु मानक भाषम् अब्बे बहस जारी बा । बहस पहिलेहीं हुइना रहे, मने बहुट डिन पाछे हुइटा । पाछे हुइलेसे फे यी बहुट मजा बात हो । मै कौनो भाषा बिशेषज्ञ नाइहुँ, टबु फे भासा बहस मिहिन घिंरह्याडारल । पर्हना, लिख्ना, छलफलमे भाग लेना बानिक कारणफे
बाल दिवस ओ कोभिड–१९ के प्रभाव

बाल दिवस ओ कोभिड–१९ के प्रभाव

बाल दिवस एक अइसिन दिन हो जहाँ लर्कनके अधिकार ओ शिक्षाहे बढावा डेहठ । विश्व बाल दिवस सर्वप्रथम सन् १९५४ मे अन्तर्राष्ट्रिय बाल दिवसके रुपमे स्थापना हुइल ओ हरेक बरसके २० नोभेम्बरमे अन्तर्राष्ट्रिय एकता, विश्वभरके बालबालिकाहुकनमे